प्रधान मंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने 100 लाख करोड़ रुपये की पीएम गति शक्ति राष्ट्रीय मास्टर प्लान का शुभारंभ किया, जिसका उद्देश्य देश में कई मंत्रालयों और विभागों द्वारा किए गए बुनियादी ढांचे के विकास को सुव्यवस्थित करना और मल्टी-मोडल कनेक्टिविटी को बढ़ाना है। प्रधानमंत्री ने नई दिल्ली के प्रगति मैदान से मास्टर प्लान की शुरुआत करते हुए कहा कि देश में अब तक बुनियादी ढांचा परियोजनाओं की व्यापक योजना का अभाव है, जिसमें प्रत्येक विभाग और मंत्रालय स्वतंत्र रूप से अलग-अलग काम कर रहे हैं। प्रधान मंत्री मोदी जी ने कहा कि इसका उद्देश्य देश के उद्योगों और अर्थव्यवस्था की प्रतिस्पर्धात्मकता को बढ़ाने के लिए रसद लागत को कम करना है, जो वर्तमान में अगले चार-पांच वर्षों में सकल घरेलू उत्पाद का लगभग 13% है।
मास्टर प्लान का उद्देश्य भारतमाला, सागरमाला, क्षेत्रीय हवाई संपर्क योजना, अंतर्देशीय जलमार्गों के विकास, समुद्र के साथ-साथ भूमि बंदरगाहों जैसी बुनियादी ढांचा योजनाओं को शामिल करना और समग्र विकास का लक्ष्य रखना है। मास्टर प्लान में टेक्सटाइल, फिशिंग, फार्मास्युटिकल क्लस्टर्स, डिफेंस कॉरिडोर, इलेक्ट्रॉनिक पार्क, इंडस्ट्रियल कॉरिडोर, कृषि क्षेत्र जैसे आर्थिक क्षेत्रों को भी शामिल किया जाएगा ताकि कनेक्टिविटी में सुधार हो और भारतीय व्यवसायों को अधिक प्रतिस्पर्धी बनाया जा सके। मास्टर प्लान का उद्देश्य देश में बुनियादी ढांचे के विकास के लिए आवश्यक अनुमोदन और नियामक मंजूरी की बहुलता को कम करना और प्रक्रिया को सुव्यवस्थित करना है। गति शक्ति बड़े पैमाने पर बुनियादी ढांचा परियोजनाओं की वास्तविक समय निगरानी के साथ भू-स्थानिक सूचना प्रौद्योगिकी को अपनाने और उपयोग करने का कार्य करेगी, जिसमें विभिन्न मंत्रालय और विभाग क्रॉस-सेक्टोरल परियोजनाओं की प्रगति की कल्पना, समीक्षा और निगरानी करने में सक्षम होंगे।